दिल्ली में चल रहे किसान आंदोलन के बीच भाजपा नेताओं द्वारा दिवगंत प्रधानमंत्री अटल बिहारी बाजपेयी का जन्म दिवस मनाया गया।

देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इस मौके पर देश के किसानों को संबोधित करते हुए कृषि कानूनों के बारे किसानों को इसके कथित फायदे समझाने की कोशिश की।

इस मौके पर पंजाब के कई शहरों में कार्यक्रम आयोजित किए गए थे। लेकिन भाजपा नेताओं को किसान संगठनों के विरोध का सामना करना पड़ा।

बताया जा रहा है कि पंजाब के जालंधर, पटियाला, होशियारपुर, फाजिल्का समेत कई शहरों में भारतीय किसान यूनियन के कार्यकर्ताओं ने पहुंचकर बैरिकेडिंग तोड़ दी और खाली कुर्सियों को भी उठा कर इधर-उधर फेंक दिया।

भारतीय किसान यूनियन के कार्यकर्ताओं और नेताओं ने कई जगहों पर जाकर भाजपा के नेताओं का घेराव किया। उनके विरोध में नारेबाजी की प्रदर्शनकारियों ने भाजपा नेताओं को चेतावनी देते हुए कहा कि उनका विरोध तब तक जारी रहेगा। जब तक यह कृषि बिल रद्द नहीं किए जाते।

इसके साथ ही किसानों का कहना है कि जहां भी भाजपा नेताओं का कोई भी कार्यक्रम होगा वह उस कार्यक्रम को नहीं होने देंगे।

किसानों का कहना है कि हमें प्रधानमंत्री द्वारा दिए जा रहे दो दो हजार नहीं चाहिए। हमारी मांग हैं कि बस सरकार कृषि कानूनों को रद्द कर दे। इसके अलावा पंजाब के होशियारपुर में किसान संगठनों ने केंद्रीय मंत्री सोम प्रकाश का घेराव किया है। इस दौरान पुलिस की सुरक्षा से उन्हें वहां से सुरक्षित निकाला गया।

इसके अलावा फाजिल्का में भाजपा के जिला अध्यक्ष के आवास और दुकान के सामने भी किसानों द्वारा विरोध प्रदर्शन किया गया है।

वहीँ जालंधर में भाजपा के पूर्व विधायक मनोरंजन कालिया के घर का घेराव करने पहुंचे। किसानों के साथ पुलिस की धक्का-मुक्की भी हुई है। जिसके चलते किसानों ने जमकर हंगामा किया। बताया जाता है कि इस दौरान भाजपा नेताओं को दीवार फांद कर अपनी जान बचानी पड़ी।

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