साल 2020 में कोरोना महामारी की वजह से लाखों लोगों की जान जा चुकी है। भारत में मोदी सरकार द्वारा कोरोना संक्रमण से बचाव के चलते लगाए गए लॉकडाउन के दौरान प्रधानमंत्री मोदी द्वारा जनता के लिए 20 लाख करोड़ का पैकेज का ऐलान किया गया था।

अब खबर सामने आ रही है कि कोरोना के चलते बनी स्थिति से निपटने के लिए मोदी सरकार द्वारा घोषित किए गए 20 लाख करोड रुपए के आर्थिक पैकेज में से सिर्फ 10 फीसदी पैसा ही वितरित किया गया है।

इस मामले में विपक्षी दलों ने मोदी सरकार को निशाने पर लिया है। कांग्रेस का कहना है कि साल 2014 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोगों को अच्छे दिन दिखाए थे। लेकिन आज जनता सबसे बुरे दौर से गुजर रही है।

गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोगों के अकाउंट में 15 लाख रूपये डालने का दावा किया था। जोकि आज तक किसी को नहीं मिले। भाजपा के पहले कार्यकाल के दौरान ही 15 लाख के वादे को गृहमंत्री अमित शाह द्वारा चुनावी जुमला करार दे दिया गया था।

इसी तरह अब कोरोना से निपटने के लिए मोदी सरकार का 20 लाख करोड़ का पैकेज भी कोरोना जुमला साबित हुआ है। जिसपर विपक्षी दलों द्वारा सवाल खड़े किए जा रहे हैं।

कांग्रेस नेता राहुल गाँधी ने इस खबर को शेयर करते हुए मोदी सरकार पर तंज कसा है। राहुल गाँधी ने ट्वीट कर लिखा है कि ”चुनावी जुमला- 15 लाख अकाउंट में,कोरोना जुमला- 20 लाख करोड़ का पैकेज!”

आपको बता दें कि कोरोना महामारी के दौरान प्रधानमंत्री ने देश की अर्थव्यवस्था को पटरी पर लाने का दावा किया था।

पीएम मोदी ने देश के नाम एक संबोधन के दौरान 20 लाख करोड रुपए के तहत राहत पैकेज की घोषणा करते हुए देश को आत्मनिर्भर भारत बनने की बात कही थी। लेकिन सच्चाई ये है कि इस राहत पैकेज में से अब तक सिर्फ 10 फीसदी पैसा वितरित किया गया है।

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