प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बड़े भाई प्रह्लाद मोदी ने बीजेपी के दोहरे मापदंड पर सवाल खड़े किए हैं।

उन्होंने कहा कि मेरी बेटी को इसलिए स्थानीय निकाय चुनाव नहीं लड़ने दिया जा रहा क्योंकि वो पीएम मोदी की भतीजी हैं, जबकि बीजेपी के कई दिग्गज नेताओं के बेटे सांसद और अहम पदों पर हैं।

दरअसल, गुजरात में होने वाले स्थानीय निकाय चुनावों को लेकर पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष सीआर पटेल ने एक घोषणा की है। उन्होंने उम्मीदवारों के लिए आवश्यक मानदंडों का ऐलान करते हुए कहा है कि बीजेपी नेताओं के रिश्तेदार और परिवार के सदस्यों को इस चुनाव में टिकट नहीं मिलेगा।

पटेल की इसी घोषणा पर प्रह्लाद मोदी ने ऐतराज़ जताया है। उनका कहना है कि पटेल द्वारा बनाए गए मानदंडों के बाद अब उनकी बेटी सोनल मोदी चुनाव नहीं लड़ सकेंगी। सोनल अहमदाबाद के बोदकदेव से चुनाव लड़ना चाहती थीं।

पार्टी के फैसले पर सवाल खड़े करते हुए प्रह्लाद मोदी ने कहा कि पार्टी के नियम देशभर में पार्टी के सभी कार्यकर्ताओं और नेताओं पर लागू होने चाहिए।

अगर राजनाथ सिंह के बेटे सांसद बन सकते हैं और अगर मध्य प्रदेश के वर्गीस जी के बेटे विधायक हो सकते हैं तो फिर मेरी बेटी चुनाव क्यों नहीं लड़ सकती। उन्होंने ये बातें बीबीसी को दिए एक इंटरव्यू में कहीं।

इस दौरान उन्होंने केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह के बेटे जय शाह को भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) का सचिव बनाए जाने पर भी सवाल खड़े किए।

उन्होंने कहा कि अगर गृहमंत्री के बेटे जय शाह जिनका क्रिकेट में कोई महत्वपूर्ण योगदान नहीं है को क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड की ज़िम्मेदारी दी जा सकती है।

उन्होंने सवाल उठाते हुए कहा कि जय शाह के पास क्या कोई डिग्री है कि वो सरकार के लिए उपयोगी हैं?

और बीजेपी समेत दूसरे पक्षों से उन्हें लगातार सपोर्ट मिल रहा है। और अगर वो क्रिकेट बोर्ड के सचिव बन सकते हैं तो पार्टी दो सामानांतर तरीक़ों से काम कर रही है।

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