कोरोना संकट के इस भयानक दौर में देशभर से प्रवासी मजदूर और कामगार गांवों में अपने घर लौट रहे हैं। एक तरह से कह सकते हैं ये महापलायन आज़ादी के समय हुए पलायन से भी बड़ा है।
मजदूरों की सैकड़ो किलोमीटर पैदल चलने की हजारों तस्वीरें सामने आ रही हैं। इसी कड़ी में एक बच्चे की तस्वीर एयर वीडियो सामने आई जिसमें बच्चा सूटकेस पर लेटा हुआ है और बच्चे की माँ सूटकेस को रस्सी से खींच रही है। इस तस्वीर ने सरकार की नाकामी भरी सभी योजनाओं की कलई खोल कर रख दी।
इस अबोध और मासूम बच्चे की मदद सरकार ने तो नहीं की! इसके बरअक्स समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष और उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने बच्चे के भविष्य को देखते हुए एक लाख की आर्थिक सहायता देने की घोषणा कर दी है।
अखिलेश यादव ने बच्चे की मां के साथ वीडियो ट्वीट करते हुए कहा कि, “जिस मासूम को इतनी कम उम्र में ही इतनी भयावह परिस्थितियों से गुजरना पड़ा है, उसके जीवन में कुछ सकारात्मक घट सके… इस आशा के साथ हम इस बच्चे के माता-पिता तक 1 लाख रु की आर्थिक मदद पहुँचाएँगे।”
जिस मासूम को इतनी कम उम्र में ही इतनी भयावह परिस्थितियों से गुजरना पड़ा है, उसके जीवन में कुछ सकारात्मक घट सके… इस आशा के साथ हम इस बच्चे के माता-पिता तक 1 लाख रु की आर्थिक मदद पहुँचाएँगे.
जो जनता ‘सत्ता’ का दिया दुख झेल रही है
वो जानती है कि ये बचपन का खेल नहीं है pic.twitter.com/wgIRkdZqxM— Akhilesh Yadav (@yadavakhilesh) May 22, 2020
उन्होंने आगे जनता और मजदूरों की इस हालत का योगी और केन्द्र सरकार को मानते हुए लिखा कि, “जो जनता ‘सत्ता’ का दिया दुख झेल रही है। वो जानती है कि ये बचपन का खेल नहीं है।”
गौरतलब हो कि, इससे पहले अखिलेश यादव ने दरभंगा की 15 वर्षीय लड़की ज्योति को एक लाख देने की घोषणा की थी। ज्योति वही लड़की हैं जिन्होंने अपने पिता मोहन पासवान को साइकिल पर बिठा कर हरियाणा के गुरुग्राम से अपने घर बिहार के दरभंगा पहुंच गईं। ज्योति की इस हिम्मत की पूरी देश में सराहना हो रही है।
सरकार में नहीं रहते हुए भी पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव लगातार मजदूरों को एक-एक लाख रुपये देकर उनकी सहायता कर रहे हैं। ये ऐसा समय है जब मजदूरों के पास काम नहीं है ऐसे में सपा की तरफ से मजदूरों को ये मदद काफी बल देगी।