प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने देश के कई काबिल पत्रकारों को छोड़कर अभिनेता अक्षय कुमार को चुनाव के बीच कथित ‘गैर राजनीतिक’ इंटरव्यू दिया है। अपने पांच साल के कार्यकाल के दौरान एक भी लाइव प्रेस कांफ्रेंस नहीं करने वाले मोदी अभिनेता को इन्टरव्यू दे रहे हैं! वो भी तब जब पीएम और उनकी पार्टी रोजगार, किसान, गंगा सफाई पर फेल होने के बाद राष्ट्रवाद के मुद्दे पर चुनाव लड़ रही है।
कांग्रेस महासचिव प्रियंका गाँधी में प्रधानमंत्री के गैर राजनीतिक इंटरव्यू पर सवाल उठाये हैं। प्रियंका गाँधी ने बुधवार को यूपी के महोबा में कहा कि, “प्रधानमंत्री को अभिनेता से नहीं बल्कि किसानों से बात करनी चाहिए थी।”
प्रियंका ने आगे कहा है कि, “अपने देखा होगा बड़े-बड़े अभिनेताओं के साथ उनका (पीएम) इन्टरव्यू करते देखा होगा, लेकिन आपने कभी भी उन्हें जनता के बीच नहीं देखा होगा । मैं वाराणसी गई, वहां मुझे पता चला कि प्रधानमंत्री इन पांच सालों में किसी भी गांव में नहीं गए। पीएम को अभिनेता से नहीं बल्कि किसानों से बात करनी चाहिए।”
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भाजपा के लोग पीएम के इस इंटरव्यू को गैर राजनीतिक बता तो रहे हैं। लेकिन क्या सच में चुनाव के बीच दिया गया ये इन्टरव्यू गैर राजनीतिक है? क्योंकि इस इन्टरव्यू में भाजपा नेता नरेन्द्र मोदी की गरीब और एक आम आदमी की छवि बनाने की कोशिश की गई है। जिससे आम लोगों के बीच पीएम के लिए हमदर्दी पैदा हो।
पीएम मोदी को चाहिए कि इस समय उनकी सरकार ने पांच साल के कार्यकाल में क्या काम किए? देश की जनता से किए गए वादों को कितना पूरा किया? नोटबंदी, जीएसटी और गंगा सफाई पर क्या कदम उठाये गए जैसे सवालों के जवाब देने चाहिए। लेकिन पीएम मोदी ने अभिनेता को इंटरव्यू दिया है!
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क्या पीएम मोदी अपने किए वादों को पूरा न कर पाने की वजह से पत्रकारों को इन्टरव्यू देने और लाइव प्रेस कांफ्रेंस करने से बचते हैं? अक्षय ने पीएम मोदी का इंटरव्यू प्रधानमंत्री आवास पर लिया है और इसे न्यूज़ एजेंसी एएनआई ने जारी किया है।