‘बहारों फूल बरसाओं मेरा महबूब आया है।’ हसरत जयपुरी का लिखा ये गाना आया तो सन 1966 में था। मगर इसका नज़ारा आज देखने को मिला वाराणसी में। जहां आज प्रधानमंत्री मोदी पहुंचे हुए हैं।

सोशल मीडिया पर वायरल होती तस्वीरों की मानी तो ये गुलाब के फुल कई अलग अलग शहरों और राज्यों से मंगाए गए हैं।

ट्विटर- बीजेपी

इन तस्वीरों पर ज्यादा हैरानी इसलिए भी है क्योंकि पिछले ही साल यानी की 2018 में जब पीएम मोदी छत्तीसगढ़ पहुंचे हुए थे। जहाँ उनका स्वागत तत्कालीन मुख्यमंत्री डॉ। रमन सिंह ने गुलदस्ते की बजाय एक गुलाब से किया।

इसके पीछे की वजह थी पीएमओ से वो सर्कुलर जिसमें स्वागत के लिए गुलदस्ते का इस्तेमाल न किया जाए की बात कही गई थी। इसक जगह सिर्फ एक गुलाब देने को कहा गया इसकी वजह सिक्योरिटी भी माना जा रहा है।

ट्विटर- बीजेपी

वहीँ इससे पहले साल 2017 में केरल पहुंचे पीएम मोदी ने लोगों से ‘गुलदस्ते के बजाय पुस्तक भेंट करने की अपील करते हुए कहा था कि पढ़ने से ज्यादा आनंद किसी और काम में नहीं आता और ज्ञान से बड़ी कोई ताकत नहीं है।

पीएम मोदी ने तब कहा था कि मैं लोगों से अपील करता हूं कि वे शुभकामनास्वरूप पुष्प गुच्छ देने के बजाय पुस्तक भेंट करें। इस तरह का कदम बड़ा बदलाव ला सकता है।

मगर प्रधानमंत्री मोदी की पार्टी बीजेपी ने इससे सीधे सीधे मानने से मना ही कर दिया। पहले पीएम मोदी ने अपने रोड शो की शुरुआत बनारस हिन्दू यूनिवर्सिटी के संस्थापक मदन मोहन मालवीय की मूर्ति का माल्यार्पण किया फिर और अपनी गाड़ी की खुली गाड़ी में खड़े होकर जनता का अभिवादन करने लगे इस दौरान उनपर लोग फूलों की वर्षा कर रहे थे जोकि ज़ाहिर है ज्यादातर उनके समर्थक थें।

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