भारत में फैले कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर में देश की स्वास्थ्य व्यवस्था चरमराने के कगार पर पहुंच चुकी है। देश में ऑक्सीजन की कमी का मुद्दा सबसे चिंताजनक बना हुआ है।

इसके साथ ही मोदी सरकार के बड़े-बड़े दावों की भी पोल खुल चुकी है। दरअसल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा कई मौके पे भारत की तारीफों के पुल बांधते हुए इसे विश्वगुरु बताया गया है।

लेकिन आज विश्वगुरु की स्थिति यह है कि सरकार को छोटे बड़े देशों से मदद की गुहार लगानी पड़ रही है।

कई देशों ने भारत में ऑक्सीजन की आपूर्ति और मेडिकल जरूरतों को पूरा करने के लिए सामान मुहैया करवाने का ऐलान है।

इस मामले में पूर्व आईएएस अफसर सूर्य प्रताप सिंह ने मोदी सरकार पर निशाना साधा है।

उन्होंने लिखा- “कितना भिखमंगा बना दिया मेरे भारत महान को! ऑक्सीजन के टैंकर तक नहीं हैं जिनसे ऑक्सीजन ढोई जा सके। भूटान जैसा छोटा देश भी प्रतिदिन 40 टन ऑक्सीजन क्रैयोजेनिक टैंकर सहित भेजेगा, वाह, विश्वगुरु भारत की जय हो!!”

 

बताया जाता है कि इस काम के लिए एयर इंडिया और सेना के विमानों के साथ-साथ निजी कंपनियों के विमानों का इस्तेमाल किया जा रहा है।

भारत में ऑक्सीजन की आपूर्ति और अन्य स्वास्थ्य सुविधाओं से जुड़े सामान को एक से दूसरे राज्यों में विशेष ट्रेनों के जरिए पहुंचाया जाएगा।

कई देशों ने भारत में ऑक्सीजन कंसंट्रेटर भेजे हैं। वहीँ आने वाले हफ्ते में कई देशों से लगभग 10,000 ऑक्सीजन कंसंट्रेटर भारत में आने वाले हैं।

भारत की मदद के लिए सामने आने वाले देशों में चीन, अमेरिका, ब्रिटेन, यूएई, सऊदी अरब, सिंगापुर के साथ-साथ भूटान और श्रीलंका का नाम भी शामिल है।

हैरानीजनक बात ये है कि मोदी सरकार के नेताओं द्वारा बीते साल कोरोना संक्रमण फैलने के बाद चीन के लिए कई आपत्तिजनक बातें कही गई थी। वही देश अब भारत में बने इस स्थिति के लिए मदद का हाथ आगे बढ़ा रहा है।

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