बीते 11 दिनों से छत्तीसगढ़ के रावघाट में लोहे अयस्क की खुदाई को लेकर 23 गाँव के आदिवासी प्रदर्शन कर रहे हैं । शुक्रवार को अपनी 23 सूत्रीय मांग को लेकर आदिवासी नारायाणपुर जिला मुख्यालय पहुंचे जहां उन्होंने ने कलक्ट्रेट का घेराव कर प्रदर्शन किया।

मांगे न मानी जाने पर प्रदर्शनकारी गेट पर सुरक्षा घेरा तोड़कर मुख्यालय के अंदर घुस गए। प्रदर्शन को उग्र होता देख सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मियों ने भीड़ पर लाठीचार्ज कर दिया। बताया जा रहा है गुस्साई भीड़ ने पुलिस पर पथराव भी किया।

इस घटना में कुछ आदिवासियों के घायल होने की भी खबर है। प्रदर्शन को शांत करवाने के लिए कलेक्टर को राजयपाल के नाम का ज्ञापन लेना पड़ा। बस्तर जिले के रावघाट में लोहे अयस्क की खुदाई की जानी है जिसका विरोध रावघाट के आस पास के क्षेत्र में रहने वाले आदिवासी कर रहे है।

प्रदर्शनकरियो का कहना है रावघाट की पहाड़ी पर उनके देवता राजराव बाब स्थित हैं। इस खुदाई के एवज में वे लोग अपने देवता का सौदा नहीं होने देंगे। उनका ये भी कहना है पहाड़ी आस पास के 23 गाँव के लोगो की जरूरतों को पूरा करती है। वो लोग वहां से लघु वनोपज के रूप में महुआ, टोरा, आंवला, चिरौंजी का संग्रहण करते हैं।

लोहे अयस्क की खुदाई होने वो लोग बेघर हो जाएंगे। वातावरण प्रदूषित होगा और तरह-तरह की बीमारियां भी फैलेंगी। हालांकि पुलिस प्रशासन ने प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज करने की बात को नकारते हुए कहा कि पुलिसकर्मियों और प्रदर्शन कर रहे आदिवासियों के बीच धक्कामुक्की और हलकी फुलकी हाथापाई हुई है।

गौरतलब है कि पिछले 2 सप्ताह से प्रशासन और प्रदर्शनकारियों के बीच बात-चीत चल रही थी। पुलिस का कहना है ग्रामीणों ने खनन को रोकने के लिए कुछ गाँव में नाके बना दिए थे, जिसके बाद पुलिस उनको समझाने में नाकाम रही थी। बस्तर के आईजी सुंदरराज पी ने सभी जिलों के एसपी को निर्देश दिए हैं अगर प्रदर्शन के दौरान किसी ने भी शांति भांग करने या कानून व्यवस्था बिगड़ने की कोशिश की तो उससे सख्ती से निपटा जाएगा।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here