प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अमेरिका में 8 भाषाओं में इस बात का दावा करते हैं कि भारत में सब कुछ अच्छा है। लेकिन क्या भारत में वाकई सब कुछ अच्छा है? सोशल मीडिया पर वायरल हो रही लखीमपुर-खीरी की एक तस्वीर को देखने के बाद तो कम से कम ये कहा जा सकता है कि भारत में सब कुछ अच्छा नहीं है।

दरअसल, लखीमपुर-खीरी के नीमगांव इलाके से एक दिल को झकझोर देने वाली तस्वीर सामने आई है। जिसमें एक पिता अपने बेटे के शव को कंधे पर लादे हुए रोता हुआ नज़र आ रहा है। बताया जा रहा है कि तस्वीर में नज़र आने वाला शख़्स दिनेशचंद है, जो रमुआपुर गांव का रहने वाला है।

दिनेशचंद ने कुछ दिनों पहले अपने चार साल के बेटे दिव्यांशु को जिला अस्पताल में बुखार के चलते भर्ती कराया था। जहां उसका इलाज चला, लेकिन बच्चे को बचाया नहीं जा सका। बुधवार को बच्चे की मौत हो गई। बच्चे की मौत के बाद जब बेहाल दिनेश उसके शव को ले जाने लगा तो उसे बताया गया कि शव को ले जाने से पहले उसे डेथ सर्टिफिकेट बनवाना पड़ेगा।

बेटे की मौत से ग़म में डूबा दिनेश अस्पताल के इस फरमान से और परेशान हो गया। उसे कुछ नहीं सूझा। वह आंखों से बह रहे आंसू और कंधे पर बेटे की लाश लिए सर्टिफिकेट बनवाने के लिए अस्पताल में दौड़ने लगा। वह बेटे की लाश लिए कभी एक काउंटर पर जाता तो उसे दूसरे काउंटर पर भेज दिया जाता।

इस दौरान वह लोगों और अस्पताल स्टाफ से मदद की गुहार लगाता रहा। लेकिन उसकी मदद के लिए कोई आगे नहीं आया। वह इसी तरह अपने बेटे की लाश कंधे पर लिए काफी देर तक दौड़ता रहा। काफी मशक्कत के बाद जब दिनेश पूरी तरह से पस्त हो गया तब जाकर कहीं बेटे का डेथ सर्टिफिकेट बन पाया और वह बेटे के शव को घर ले जा सका।

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here