अंग्रेजी अख़बार ‘द हिंदू’ द्वारा राफेल डील को लेकर किए गए नए ख़ुलासे के बाद केंद्र की मोदी सरकार विपक्ष के निशाने पर आ गई है। विपक्षी नेता इस ख़ुलासे को लेकर सरकार और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की नीयत पर सवाल खड़े कर रहे हैं।

वामपंथी नेता कन्हैया कुमार ने ट्विटर के ज़रिए पीएम मोदी पर तंज़ कसते हुए कहा, “आईटी सेल वालों का कहना है कि चौकीदार सचमुच चोर है क्योंकि उसने पूरे भारत का दिल चुरा लिया है। अब उन्हे कौन समझाए कि चौकीदार ने दिल नहीं बल्कि राफ़ेल का बिल चुराया है”।

क्या है ‘द हिंदू’ का नया ख़ुलासा?

राफेल डील पर एक बार फिर ‘द हिंदू’ ने खुलासा करते हुए कहा है कि यह डील यूपीए सरकार के वक़्त की तय की गई कीमत और शर्तों पर खरी नहीं उतरती है।

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अख़बार का कहना है कि भारतीय पक्ष राफेल डील में एक बेंचमार्क कीमत तय करना चाहता था, लेकिन फ्रांसीसी पक्ष ने इसको एस्कलेशन यानी बढ़ते रहने के फॉर्मूले में बदल दिया।

अख़बार ने दावा किया है कि राफेल डील को लेकर आपत्ति करने वाले तीन अधिकारियों ने अपनी असहमति जताते हुए एक जून (2016) को डिसेंट नोट दिया था।

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जिसमें उनका कहना था कि ‘एस्कलेशन के आधार पर फ्रांस सरकार ने विमानों की जो अंतिम कीमत तय की है, वह पहले तय बेंचमार्क कीमत से 55.6 फीसदी ज्यादा है। आपूर्ति के समय तक एस्कलेशन के आधार पर यह कीमत और बढ़ सकती है।

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