जम्मू कश्मीर के पुलवामा में हुआ आतंकी हमला पिछले 30 सालों में सबसे बड़ा हमला है। इस हमले को लेकर गोदी मीडिया सर्जिकल स्ट्राइक और जंग की मांग करने लगा है।

मगर असल सवाल जिसे मीडिया को उठाना चाहिए की कैसे ख़ुफ़िया विभाग के जानकारी देने के बावजूद इतना बड़ा हमला हुआ और इस हमले करीब 40 जवानों की मौत हो गई।

दरअसल देश का मीडिया पाकिस्तान को मिटाने की धमकी देने लगा है, खून के बदले खून की बात करने लगा है, साथ ही फिर से सर्जिकल स्ट्राइक करने की बात कर रहा है लेकिन सरकार और इंटेलिजेंस पर सवाल नहीं कर रहा है।

जबकि इस हमले को लेकर एक ऐसा दस्तावेज सामने आया है जिसके मुताबिक इंटेलिजेंस ने अलर्ट कर दिया था लेकिन मोदी सरकार की लापरवाही से हमने 40 से ज्यादा जवानों की खो दिया।

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इस हमले पर पत्रकार मानक गुप्ता ने सोशल मीडिया पर लिखा, 100 किलो से ज़्यादा बारूद पुलवामा तक ले आए, कार बम बना लिया, नैशनल हाइवे पर घात लगा कर हमले को अंजाम दे दिया, 42 जवानों की जान ले ली, फ़रार भी हो गए।।।और हम देखते रह गए। इससे बड़ा इंटेलिजेन्स फ़ेल्यर क्या होगा।

बता दें कि पुलवामा हमले में हर सैनिक के परिवारवालों को सरकार 25-25 लाख रुपए और परिवार के एक सदस्य को राज्य सरकार की नौकरी दी जाएगी। साथ ही शहीदों के गाँव में संपर्क मार्ग उनके नाम पर रखा जाएगा।

शहीदों का अंतिम संस्कार राजकीय सम्मान के साथ होगा। इसमें एक मंत्री, डीएम और वरिष्ठ पुलिस अधिकारी मौजूद रहेंगे।

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