
बुलंदशहर हिंसा में योगी सरकार पत्थरबाजों को मुआवजा दे रही है। वायरल हो रहे वीडियो और मीडिया में आ रही तस्वीरों से साफ़ पता चल रहा है कि सुमित जिसकी गोली लगने के कारण मौत हो गई वो पूरी तरह से हिंसा भड़काने में शामिल था।
बावजूद इसके योगी सरकार ने सुमित के परिजनों को पांच लाख रुपये मुआवजे का ऐलान किया था, बाद में जिसे 10 लाख कर दिया गया।
दरअसल वायरल हो रहे वीडियो में साफ़ देखा जा सकता है कि कुछ लोग पुलिस पर पत्थरों से हमला कर रहें है। इन वीडियो में सुमित पत्थर लिए साफ़ नज़र आ रहा है।
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यही नहीं वीडियो में साफ़ देखा जा सकता है कि पुलिस पोस्ट में तोड़फोड़ की गई और गाड़ियों में आग लगा दी गई और इस हिंसा की चपेट में स्याना के इंस्पेक्टर सुबोध सिंह उसकी चपेट में आ गए।
हालाकिं मृतक सुमित के परिवार का कहना है कि वो तो सीधा सादा लड़का था और पुलिस में भर्ती होना चाहता था।
लेकिन परिवार वालों की जिद थी कि जितना मुआवजा इंस्पेक्टर के परिवार को दिया गया है उतना ही मुआवजा उन्हें भी दिया जाए। बाद में शासन की तरफ से मुआवजे की धनराशि पांच लाख से बढ़ाकर 10 लाख कर दिया गया।
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मुआवजा देने पर पत्रकार कादंबिनी शर्मा ने सोशल मीडिया पर लिखा, ये बुलंदशहर में पत्थरबाज़ सुमित कुमार की फॅमिली को 10 लाख मुआवजा क्यों दिया गया? क्या यूपी सरकार उसे हीरो मानती है?
Why is the killed #Bulandshahr stone pelter Sumit Kumar's family being given compensation of Rs 10 lakhs? Does UP govt think he's a hero?
— Kadambini Sharma (@SharmaKadambini) December 6, 2018
बता दें कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट में दोनों मृतकों को एक ही पिस्टल से गोली मारे जाने की खबर है। मृतक सुमित के परिवार का कहना है कि वो तो सीधा सादा शरीफ लड़का था और पुलिस में भर्ती होना चाहता था।
इस मामले की एसआईटी गठित की गई जिसके नतीजे का हर किसी को इंतजार है। इन सबके बीच यूपी पुलिस के डीजीपी ने कहा कि इसमें किसी बड़ी साजिश की बू नजर आती है।