गुरुवार को 2019 का आखिरी सूर्य ग्रहण लगा। देश के कई हिस्सों में सूर्य ग्रहण का अद्भुत नजारा दिखा। लोगों ने गंगा में डुबकी भी लगाई। इस बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी सूर्य ग्रहण का दीदार किया। सूर्य का दीदार करते हुए मोदी ने ट्वीटर पर अपनी फोटो शेयर कीं। मोदी इस दौरान फॉर्मल कपड़े, लाल रंग का मफलर और काला चश्मा लगाए हुए थे। बताया जा रहा है कि मोदी का ये चश्मा डेढ़ लाख रुपये का है।
वैसे तो नरेन्द्र मोदी अपने आपको ‘फकीर’ कहते हैं, लेकिन वो 10 लाख का सूट पहनने के बाद अब डेढ़ लाख का चश्मा पहने हुए हैं। मोदी ने जो चश्मा पहना हुआ है वो जर्मनी की एक लक्जरी कंपनी ‘मायबाख’ का है। इस चश्मे की कीमत 21,59 डॉलर की है।
मोदी ने जो चश्मा लगाया हुआ है उससे मिलते-जुलते कंपनी की वेबसाइट कई चश्मे मौजूद हैं। इन चश्मों की कीमत 1955 डॉलर से शुरू है। जो चश्मा मोदी ने लगाया है वो वाकई में 15,5000 रुपये का है।
मोदी के महंगे चश्मे पर पत्रकार गुरप्रीत गैरी वालिया ने ट्वीटर पर लिखा कि, मुझे ये चश्मा खरीदना है। किसी को दाम और कंपनी पता है क्या? वहीं कांग्रेस प्रवक्ता राधिका खेरा ने कहा कि, फ़कीर की फकीरी, द आर्टिस्ट -।।। कीमत एक लाख 55 हजार रुपये। इसीलिए सोशल मीडिया पर कई लोग मोदी को ब्रांडेड फ़कीर बोल रहे हैं।
मुझे ये चश्मा खरीदना है
किसी को दाम और कंपनी पता है क्या ?? pic.twitter.com/ay6RXwsvlt
— Gurpreet Garry Walia (@_garrywalia) December 26, 2019
दरअसल, बात प्रधानमंत्री मोदी के महंगे चश्मे की नहीं है बल्कि उनके दोहरेपन रवैए की है जो बोलते हैं। पीएम पहले से बोलते आए हैं कि, हम तो फ़कीर आदमी हैं, झोला उठाकर चल देंगे। तो क्या एक फ़कीर इतना महंगा विदेशी चश्मा पहन सकता है?
पीएम ने चार फोटो शेयर करके ट्वीट लिखा कि, “कई भारतीयों की तरह, मैं भी सूर्य ग्रहण के लिए उत्साहित था। दुर्भाग्य से सूरज बदल में छिप गया था, जिससे मैं देख नहीं सका। मैंने कोझीकोड और अन्य भागों में ग्रहण की झलक को लाइव स्ट्रीम के जरिए देखा। विशेषज्ञों के साथ बातचीत करके इस विषय पर अपने ज्ञान को समृद्ध किया।”
Like many Indians, I was enthusiastic about #solareclipse2019.
Unfortunately, I could not see the Sun due to cloud cover but I did catch glimpses of the eclipse in Kozhikode and other parts on live stream. Also enriched my knowledge on the subject by interacting with experts. pic.twitter.com/EI1dcIWRIz
— Narendra Modi (@narendramodi) December 26, 2019