27 दिसंबर यानी कल प्रदर्शन के दौरान दिल्ली पुलिस ने डॉक्टर्स को बुरी तरह पीटा, घसीटा, गाली दी और हिसारत में लिया। महिला चिकित्सकों का आरोप है कि पुरुष पुलिसकर्मियों ने उनके साथ बदसलूकी भी की। कल देर रात तक डॉक्टर्स सरोजनी नगर पुलिस स्टेशन के बाहर प्रदर्शन करते रहे।

कल का हंगामा पूरे दिन सोशल मीडिया पर छाया रहा। नतीजतन आज डॉक्टर्स दोगुनी संख्या में प्रदर्शन के लिए बाहर निकले हैं। हजारों की संख्या में तो सिर्फ सफदरजंग अस्पताल परिसर में इकट्ठा हुए हैं। डॉक्टर्स सफदरजंग अस्पताल से स्वास्थ्य मंत्रालय तक मार्च करना चाहते हैं। हालांकि पुलिस ने अस्पताल के तीन मुख्य गेट पर बैरिकेडिंग कर दी है।

क्या है मांग?

पूरा मामला नीट-पीजी काउंसलिंग से जुड़ा है। डॉक्टर्स की मांग है कि 42 हजार नए चिकित्सकों की काउंसलिंग की तारीख जल्द से जल्द घोषित की जाए। वर्क फोर्स को बढ़ाया जाए। दिल्ली स्थित इहबास (IHBAS) अस्पताल के रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ने बैनर लगाकर अपनी मांग आम लोगों को समझाने की कोशिश की है।

एसोसिएशन का कहना है कि वर्क फोर्स में 42000 नए डॉक्टर्स को शामिल किए जाने से मरीजों को बेहतर इलाज मिल पाएगा और डॉक्टर्स पर भी वर्क लोड भी कम होगा।

17 दिसंबर से जारी इस हड़ताल को लेकर एसोसिएशन तब तक खत्म करने के पक्ष में नहीं है जब तक काउंसलिंग की ‘पक्की’ तारीख घोषित नहीं की जाती। शायद एसोसिएन पिछली बार मिले धोखे के कारण अधिक सचेत हो गया है। दरअसल, गत 6 दिसंबर को भी दिल्ली के अस्पतालों ने हड़ताल शुरू की थी। लेकिन तब केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने सुप्रीम कोर्ट में अपने वकील के जरिए डॉक्टर्स से कुछ दिन का समय मांगा था।

बता दें कि इस हड़ताल में जीटीबी, लेडी हार्डिंग, सफदरजंग, आरएमएल और एलएनजेपी जैसे प्रतिष्ठित अस्पतालों के रेजिडेंट डॉक्टर्स शामिल हैं।

कल क्या हुआ था?

कल प्रदर्शन करते हुए रेजिडेंट डॉक्टर्स दिल्ली के आईटीओ के पास पहुंचे, जहां पुलिस ने उन्हीं बुरी तरह घसीटा और हिरासत में लिया। इस दौरान डॉक्टर्स लगातार पुलिस से ये गुहार लगाते रहे कि वो अहिंसक तरीके से अपनी मांग रख रहे हैं, उनके साथ दुर्व्यवहार ना किया जाए।

हालांकि दिल्ली पुलिस पर इस मनुहार का कोई असर नहीं पड़ा और डॉक्टर्स को घसीटकर बसों में भर दिया गया। डॉक्टर्स का आरोप है कि इस दौरान पुरुष पुलिस द्वारा महिला चिकित्सकों के साथ बदसलूकी भी गई। रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन सफदरजंग के जनरल सेक्रेटरी डॉ. अनुज का कहना है कि पुरुष पुलिस ने महिला डॉक्टर्स के साथ बदसलूकी और गाली-गलौज की।

हिरासत में ली गईं महिला डॉक्टर्स का एक वीडियो भी ट्विटर पर शेयर किया जा रहा है। इसमें एक डॉक्टर बता रही हैं कि कैसे एक अहिंसक प्रदर्शन को दिल्ली पुलिस ने हिंसक बना दिया और पुरुष पुलिस अधिकारियों ने महिला डॉक्टर्स के पीटा।

महिला डॉक्टर ने रोहित मीना नाम के अधिकार पर आरोप लगाया है कि उन्होंने डॉक्टर्स को सबसे ज्यादा पीटा है। एक ऐसा वीडियो भी सामने आया है जिसमें साफ देखा जा सकता है कि महिला डॉक्टर्स को पुरुष पुलिस घसीट कर ले जा रहे हैं। इस वीडियो में पुलिस द्वारा की जा रही बदसलूकी और हिंसा को साफ देखा जा सकता है।

दिल्ली की हालत क्या है?

कोरोना वायरस के नए वेरिएंट ओमिक्रॉन के कहर का आलम ये है कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को येलो अलर्ट लागू करना पड़ा है। कोरोना वायरस का पॉजिटिविटी रेट 0.5 फीसदी से ऊपर पहुंच चुका है। पिछले 24 घंटे में 331 नए मरीज सामने आए हैं।

कोविड के साथ-साथ दिल्ली में डेंगू ने भी जान लेना शुरू कर दिया है। इस सप्ताह में अब तक डेंगू से 6 जानें जा चुकी हैं। इससे भी चिंताजनक बात ये है कि जान गंवाने वाले सभी बच्चे हैं।

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